बीकानेर शहर राव बीका द्वारा बसाया गया था. इस पुराने शहर की चारदिवारी के बीच है बड़ा बाज़ार. इस बाज़ार में भांडा शाह नामक व्यापारी ने 1468 में एक जैन मंदिर बनवाना शुरू करवाया और इसे 1541 में भांडा शाह की पुत्री ने पूरा कराया. यह मंदिर पांचवें जैन तीर्थंकर सुमति नाथ को समर्पित है.
यह जैन मंदिर भांडासर मंदिर के नाम से ज्यादा प्रचलित है. इस मंदिर के शिल्पी थे गोदा. इसमें लाल बालू पत्थर और सफ़ेद संगमरमर का इस्तेमाल किया गया है. मंदिर के फर्श, छत, खम्बे और दीवारें मूर्तियों और चित्रकारी से सजे हुए हैं. ऐसा लगता है कि चित्रकारी बाद में की गई है. ऐसा कहा जाता है की मंदिर के निर्माण में पानी की जगह 40,000 किलो घी का इस्तेमाल किया गया था.
मंदिर अब एक राष्ट्रीय संरक्षित स्मारक है पर यहाँ कोई गाइड उपलब्ध नहीं था. इसलिए अंदर के चित्रों और मूर्तियों से जुड़ी कहानियों की जानकारी नहीं मिल पाई. मंदिर दिन में खुला रहता है और कोई टिकट नहीं है. फोटो खींचने की मनाही भी नहीं है. मंदिर की स्थापना से अब तक पूजा अर्चना जारी है. मंदिर परिसर बड़ा तो नहीं है पर बहुत साफ़ सुथरा है. प्रस्तुत हैं कुछ फोटो:
यह जैन मंदिर भांडासर मंदिर के नाम से ज्यादा प्रचलित है. इस मंदिर के शिल्पी थे गोदा. इसमें लाल बालू पत्थर और सफ़ेद संगमरमर का इस्तेमाल किया गया है. मंदिर के फर्श, छत, खम्बे और दीवारें मूर्तियों और चित्रकारी से सजे हुए हैं. ऐसा लगता है कि चित्रकारी बाद में की गई है. ऐसा कहा जाता है की मंदिर के निर्माण में पानी की जगह 40,000 किलो घी का इस्तेमाल किया गया था.
मंदिर अब एक राष्ट्रीय संरक्षित स्मारक है पर यहाँ कोई गाइड उपलब्ध नहीं था. इसलिए अंदर के चित्रों और मूर्तियों से जुड़ी कहानियों की जानकारी नहीं मिल पाई. मंदिर दिन में खुला रहता है और कोई टिकट नहीं है. फोटो खींचने की मनाही भी नहीं है. मंदिर की स्थापना से अब तक पूजा अर्चना जारी है. मंदिर परिसर बड़ा तो नहीं है पर बहुत साफ़ सुथरा है. प्रस्तुत हैं कुछ फोटो:
राजस्थानी शैली का द्वार |
मंदिर का प्रवेश द्वार |
गर्भगृह में मूर्ति है पांचवें तीर्थंकर सुमति नाथ की |
छत पर चित्रकारी |
दीवार पर मूर्तियाँ |
गर्भ गृह के तीनों ओर मूर्तियाँ हैं |
दरवाज़े पर चित्रकारी |
भित्ति चित्र |
ASI की घोषणा |
5 comments:
Very knowledgeable and nicely presented.
जैसा सुन्दर मन्दिर वैसा सुन्दर वणॅन आप द्वारा किया गया
Thank you Gulshan Hemnani
धन्यवाद 'Unknown'
https://jogharshwardhan.blogspot.com/2017/02/blog-post_4.html
Post a Comment