पिछले नवम्बर में दो हफ़्तों का छुट्टी मनाने का मन था. दोस्तों यारों से पूछा, इन्टरनेट में खोजबीन की और फैसला किया न्यूज़ीलैण्ड जाने का. इस यात्रा का फैसला करने का एक कारण ये भी था की वहां अपने देसी ड्राइविंग लाइसेंस पर गाड़ी चलाई जा सकती है क्यूंकि वहां भी बाएं चलना होता है याने Left is right & right is wrong!
न्यूज़ीलैण्ड छोटे बड़े 600 टापुओं पर बसा देश है और आबादी पचास लाख से भी कम है. दो बड़े टापू हैं - नार्थ आइलैंड और दूसरा साउथ आइलैंड. साउथ में जनसँख्या कम है और बर्फीले पहाड़ों के बीच झीलें और जंगल बहुत हैं. इस टापू का प्राकृतिक सौन्दर्य ज्यूँ का त्यूं बनाए रखा गया है. झीलों के साथ साथ सड़कें बना दी गई हैं और घूमने के लिए बस, carvan / कारवां या कारें किराए पर मिल जाती हैं और आप खुद भी ड्राइव कर सकते हैं.
इन्टरनेट में खोजबीन की तो पता लगा की कई तरह के कारवां मिल रहे थे - दो बेड वाले, चार वाले, लक्ज़री वाले वगैरा. लगभग दस हज़ार रूपए प्रतिदिन के हिसाब से हम दोनों के लिए एक कारवां बुक करा दिया. अब होटल तो नहीं लेना पड़ेगा खाना इसी कारवां में खुद ही बना लेंगे.
एअरपोर्ट पहुंचे तो बंदा चाबी लेकर खड़ा था. नोट निकालो और चाबी ले लो. कारवां देखा करीब करीब टाटा 407 ट्रक के बराबर था. छोटा सा गुसलखाना जिसमें खड़े होकर शावर ले लो, छोटा सा टॉयलेट, छोटी सी किचन, बिस्तर, गैस, हीटर वगैरा और गाड़ी ऑटो गियर. चेक इन हो गया, अपना सामान डाला और स्टार्ट कर दिया - यात्रा शुरू !
न्यूज़ीलैण्ड है बहुत दूर ऑस्ट्रेलिया से 1500 किमी आगे पूर्व में. दिल्ली से हांगकांग और सिडनी होते हुए पूरा दिन लग जाता है पहुँचने में. यहाँ की करेंसी न्यूज़ीलैण्ड डॉलर है NZD जिसकी कीमत 47 रूपए के आसपास है. यहाँ की प्रति व्यक्ति आय 36254 अमरीकी डॉलर है जबकि भारत में प्रति व्यक्ति आय 1800 अमरीकी डॉलर है. तो आप अंदाज़ा लगा सकते हैं की वहां का रहन सहन कैसा होगा. यहाँ के मूल निवासी माओरी कहलाते हैं और जनसँख्या में इनका अनुपात 14.9% है. इंग्लिश के अलावा माओरी भी सरकारी भाषा है. यहाँ झीलों, पर्वतों और कई शहरों के नाम माओरी में हैं जो बोलने और याद करने में कठिन लगते हैं.
आज पेश हैं कुछ फोटो जो ऊपर हाईवे पर जाते हुए नीचे क्वीन्स टाउन शहर के आस पास ली गईं :
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ज़रा गौर से देखें लाल बिंदु के ऊपर एक छोटा सा हवाई जहाज़ जा रहा है |
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जहाज़ अब उतरने वाला है. झील के पास रनवे भी नज़र आ रहा है. इधर पहाड़ी सड़क पर दो कारवां नीचे की ओर जा रहे हैं |
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शहर का एक नज़ारा पहाड़ी हाईवे से |
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बादलों के साए में शहर |
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Yours truly |
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पहाड़, झील और जंगल |
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बादल छाते ही रंगत बदल जाती है यहाँ |
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शहर पर शाम उतर आई |
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रात में क्वीन्स टाउन का एक दृश्य |
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ये रहा हमारा चलता फिरता 1 BHK फ्लैट दो हफ़्तों के लिए |
- मुकुल वर्धन की प्रस्तुति *** Contributed by Mukul Wardhan
1 comment:
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