Pages

Thursday 9 August 2018

कांवड़ यात्रा 2018

सावन का महीना आने के साथ ही कांवड़ यात्रा की तैयारी शुरू हो जाती है. लाखों की संख्या में कांवड़िये हरिद्वार से गंगा जल ला कर अपने घर के नजदीक के शिव मंदिरों में जल चढ़ाते हैं. पर ज्यादातर कांवड़िये जल चढ़ाने के लिए पुरामहादेव मंदिर पहुँचते हैं. इसे परशुरामेश्वर मंदिर भी कहा जाता है. 
मान्यता है कि परशुराम पहली कांवड़ में हर की पौड़ी से जल यहीं लाए और शिवलिंग का अभिषेक किया. यह मंदिर बागपत जिले के बालैनी क्षेत्र में है और मेरठ से लगभग 25 किमी की दूरी पर है. मंदिर तक अपने स्कूटर या कार से भी आसानी से पहुँचा जा सकता है. मंदिर में साल में दो बार सावन और फाल्गुन में मेले लगते हैं. इस बार की कांवड़ यात्रा के कुछ फोटो प्रस्तुत हैं जिन्हें मेरठ के आस पास लिया गया है:

पूरा महादेव मंदिर 


भक्तों का ऑटो 

इस बार की नई झांकी 

चला चल भोले 

बल्बों वाली कांवड़

कलाकारों की तैयारी 

जगमग करती कांवड़

जय भोले नाथ 

भोले का मेकअप 

ये काम नहीं आसां


चार भोले और उनकी एक कांवड़

भोले की पहली यात्रा 



1 comment:

Harsh Wardhan Jog said...

https://jogharshwardhan.blogspot.com/2018/08/2018.html